Advanced Driver Assistance System :-
आज कल जब आप गाड़ियों के ads देखते हैं, तो tax marks वहां mentioned करते हैं, की this tax comes with a slave. Technology आज कल काफी popular हो गई है |
और buyers ABS फीचर वाली गाड़ियां लेना ज्यादा पसंद करते हैं | तो आज के इस article में हम बात करेंगे और जानेंगे इसके लेवल्स और इसके अंदर आने वाले फीचर्स को |
तो जैसा की आप लोग जानते ही हैं, की लगभग सभी Car Accident इंसान की गलती से होते हैं | जो की advanced driver assistant system यानी ADAS की मदद से रोका जा सकते हैं, और इससे Accident के इंपैक्ट को भी कम करता है |
Content :-
जो की रोखि नहीं जा सकते, जिसकी मदद से death and injuries को भी काफी हद तक prevent किया जा सकता है |जो की ड्राइवर की गलतियां को कम करते हैं, जब हम गाड़ी चलते हैं, गाड़ी चलते वक्त ड्राइवर की मदद करने के लिए और ड्राइवर की परफॉर्मेंस को भी बेहतर बनाते हैं|
इसमें गाड़ी में sensors जैसे radar और cameras का इस्तेमाल होता है | जो गाड़ी के आसपास के environment करते हैं | और ड्राइवर को इनफॉरमेशन देते हैं|या फिर खुद एक्शन ले लेते हैं |
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Based on environment ADAS application towards autonomous vehicle की तरफ पहले कम है | चलिए अब आगे बढ़ते हैं, और समझते हैं की आखिर ADAS system कैसे काम करता है |
self-driving cars में 360 डिग्री vision के लिए कई सारी टेक्नोलॉजी इसका use होता है| फिर चाहे वह पास की vision हो या, फिर सिस्टम सेंसर और चिप्स से मिलकर बंता है |जो की डाटा को इंटीग्रेटेड करते हैं, और रियल टाइम डिसीजंस लेते हैं |
Cameras का इस्तेमाल Bing की तरह समय नहीं लगता Das Equip vehicles में advance सेंसर होते हैं| जो ह्यूमन विजन एयरिंग और डिसीजन मेकिंग को बेटर करने में मदद करते हैं |क्या आप अंधेरे में देख सकते हैं|
पर उतने अच्छे से नहीं जितने अच्छे से देख सकते हैं| की आपको पता चल जाए की आपकी गाड़ी के पीछे कोई बच्चा है और आप अपनी गाड़ी रिवर्स ना करें, नहीं लेकिन सोना सेंसेज ऐसा कर सकते हैं |
क्या आप एक ही समय पर देख सकते हैं| तो इन सारी टेक्नोलॉजी की वजह से कार को ड्राइव करने वाले की नहीं बल्कि कार के आसपास की एनवायरनमेंट की भी सेफ्टी काफी हद तक बढ़ जाति है|
जो Vehical सेफ्टी को और बेटर करने के लिए Plan किया जाते हैं| और यह Society of Automotive Engineers के मुताबिक अलग-अलग किया जाते हैं| ADAS सिस्टम को 6 लेवल्स में categorize किया गया, Level Zero, Level One, Level Two, Level Three, Level Four की बात करें तो इसमें ड्राइवर पुरी तरह से responsible होता है|
Did you know that a misaligned ADAS system can lead to false warnings or even failure of critical safety features? That's why recalibration after a #WindshieldRepair or #WindshieldReplacement is essential.
— Optic-Kleer Northwest DFW (@OpticKleerNWDFW) April 30, 2024
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गाड़ी को चलने स्टेरिंग, ब्रेकिंग, एक्सल रेट और स्लो करने तो इसमें कम से कम एक ड्राइवर सपोर्ट सिस्टम होता है| जो की ड्राइवर को असिस्टेंट प्रोवाइड करता है, example करना होता है, और वो कभी कंट्रोल अपने हाथ में ले सकता है|
और हमारे यहां India में उसे किया जाता है और ड्राइवर जब चाहे तब कंट्रोल अपने हाथ में ले सकता है| ADAS Level 4 में गाड़ी सारे टास्क खुद ही परफॉर्म करती है| और अगर आप चाहे तो गाड़ी में सो भी सकते हैं और यह बिल्कुल ड्राइवरलेस टैक्सिस और ड्राइवरलेस पब्लिक ट्रांसपोर्ट की तरह कम करती है|
और यह व्हीकल स्पेशली प्रोग्रामिंग किया जाते हैं| दो स्पेसिफिक Location के बीच में ट्रैवल करने के लिए और इन्हें जिओ फेंसिंग टेक्नोलॉजी की मदद से रिस्टिक कर दिया जाता है|
किसी भी स्पेसिफिक ज्योग्राफी बाउंड्री को क्रॉस करने से और हम कभी भी रिकमेंड नहीं करेंगे की आप गाड़ी को ड्राइवरलेस मोड में रखकर Nap लेने क्योंकि ये काफी रिस्की हो सकता है|
और यहां पर ह्यूमन अटेंशन या इंटरेक्शन की कोई जरूर नहीं करते की आप अपने व्हीकल को मॉनिटर ना करें क्योंकि यह बहुत रिस्की हो सकता है|
Advanced Driver Assistance System(ADAS) Information :-
चलिए अब जान लेते हैं ADAS सिस्टम में मिलने वाले कुछ फीचर्स को तो पहले फीचर है|
1. गाड़ी को अपने आगे चल रही कर से सेफ फॉलोइंग डिस्टेंस को मेंटेन करने में हेल्प करता है|
और ऑटोमेटेकली आपके कर की स्पीड को सामने वाली कर के हिसाब से एडजस्ट कर देता है|
2. दूसरे फीचर की बात करें तो यह ड्राइवर इमरजेंसी स्टॉप एसिस्ट तो इस सिस्टम में होता क्या है|
की अगर ड्राइवर सो जाता है या कोई ड्राइविंग एक्शन परफॉर्म नहीं करतातो कर ऑडियो विजुअल या फिजिकल सिग्नल सेंड करती है|
ड्राइवर को अलर्ट करने के लिए पर अगर ड्राइवर सिगनल्स के बाद भी जगत नहीं है| तो सिस्टम गाड़ी कुछ Stop कर देता है| और हज़रत वार्निंग लाइट्स को एक्टिवेट कर देता है| अगले फीचर की बात करें तो वह है लेने सेंटरिंग एसिस्ट गाड़ी को लेने सेंट्रल रखना है|
और रोड मार्किंग के हिसाब से एडजस्टमेंट करता है| वार्निंग सिस्टम की बात करें तो यह सिस्टम ऑडियो और विजुअल अलर्ट के थ्रू ड्राइवर को नोटिफाई करता है |अगर कोई गाड़ी पीछे से आई है या ब्लाइंड स्पॉट में है|
विजुअल अलर्ट डैशबोर्ड डिस्प्ले कोलाइजन मिशन सिस्टम एक ऐसी टेक्नोलॉजी है |जो कर एक्सीडेंट्स को रोकने में मदद करती है | यह सिस्टम वेरियस टेक्नोलॉजी और सेंसर जैसे कैमरास जीपीएस और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का इस्तेमाल कर देता है|
ट्रैफिक साइन रिकॉग्निशन एक ऐसी टेक्नोलॉजी है जिससे गाड़ी रोड पर ट्रैफिक Side को पहचान शक्ति है|इस सिस्टम में कैमरास रोड पर ट्रैफिक साइंस को मंटर करते हैं| और डिटरमिन करते हैं की ड्राइवर को क्या मैसेज दिया जा रहा है|
लेकिन कुछ FACT जैसे लाइटिंग कंडीशन, एक्सट्रीम वेदर कंडीशंस और पार्शियल ऑब्स्ट्रक्शन इसकी एक्यूरेसी को कम कर सकते हैं|
3. अगले फीचर की बात करें तो वह Blind Spot Monitor एक ऐसी टेक्नोलॉजी है|
जो गाड़ी के छोटी एरियाज या नजर ना आने वाली एरियाज यानी ब्लाइंड को मॉनिटर करती है| और अगर कोई गाड़ी या चीज आपकी गाड़ी के पास से गुर्जर रही है| तो यह सिस्टम आपको अलर्ट करता है |
जब आप लेने चेंज करते हैं| या किसी गाड़ी को पास करते हैं, तो यह सिस्टम सेंसेक्स का इस्तेमाल नहीं करता है|
अगर ऐसा होता है तो यह सिस्टम ड्राइवर को ऑडियो या Visual अलर्ट की थ्रू नोटिफिकेशन करता है| ड्राइवर रोशनी डिक्टेशन एक ऐसी टेक्नोलॉजी है |जो गाड़ी चलते वक्त ड्राइवर की स्लीप को Monitor करती है और इनफॉरमेशन कनेक्ट करती है|
जैसे facial expressions, steering moment, driving habits, turn signals उसे और ड्राइविंग की स्पीड ताकि पता चले की क्या ड्राइवर नींद में है| या नहीं अगर लगता है की ड्राइवर नींद में है, तो गाड़ी ऑडियो विजुअल अलर्ट या सीट वाइब्रेशन से ड्राइवर को जागने की कोशिश करती है |
कई रिसर्च स्टडीज ने बताया है की लगभग 20% रोड एक्सीडेंट्स नींद आने की वजह से होते हैं|
4. अगली फीचर की बात करें तो वह इंटेलिजेंस स्पीड एडॉप्शन यह टेक्नोलॉजी गाड़ी को स्पीड लिमिट फॉलो करने में मदद करती है|
ग्लोबल नेवीगेशन सैटेलाइट होती है | जो गाड़ी को पता लगाने में मदद करती है| की वो किस रोड पर है और उसे रोड पर स्पीड लिमिट क्या कुछ इंटेलिजेंट स्पीड एडॉप्शन सिस्टम गाड़ी की स्पीड को रिलेटिव स्पीड लिमिट के हिसाब से एडजस्ट कर सकते हैं|
और दूसरे सिस्टम से ड्राइवर को फोन करते हैं अगर वह स्पीड लिमिट के ऊपर जा रहा है| और वह ड्राइवर पर डिपेंड करता है की वह स्पीड लिमिट को फॉलो करें या फिर नहीं| पर सेफ्टी के लिए हमेशा स्पीड लिमिट को फॉलो करना ही चाहिए |
5. अगला फीचर है Adaptive Light Control System
यह ऐसा सिस्टम है, जो गाड़ी की लाइट को एडजस्ट करके better visibility प्रोवाइड करता है| यह सिस्टम ट्रेडिशनल हैडलाइट्स के अपोजिट होता है| जो फिक्स पोजीशंस में होती है |
एडाप्टिव हैडलाइट्स पोजीशंस में नहीं बल्कि इनका डायरेक्शन गाड़ी के स्टेरिंग एंगल के हिसाब से चेंज होता है| जिससे गाड़ी की डायरेक्शन के हिसाब से लाइट्स एडजस्ट हो सके यह टेक्नोलॉजी डम कर देती है| जब ऑन कमिंग ट्रैफिक आता है|
और ट्रैफिक गुर्जर जान के बाद लाइट्स को फिर से ब्राइट कर देती है| यह टेक्नोलॉजी आपको नाइट ड्राइविंग सिस्टम ऑटोमेटिक इमरजेंसी ब्रेकिंग सिस्टम एक ऐसी टेक्नोलॉजी है| जो गाड़ी के लिए इमरजेंसी सिचुएशन में ऑटोमेटेकली ब्रेक अप्लाई करके गाड़ी को रोकने में मदद करती है|
या नहीं और अगर ऐसा होता है तो यह सिस्टम बिना ड्राइवर कुछ ऑटोमेटिक इमरजेंसी ब्रेकिंग सिस्टम प्रीवेंटिव मेजर्स भी लेते हैं| जैसे सीट बेल्ट टाइट करना, गाड़ी की स्पीड कम करना और कॉलेजों को अवॉइड करने के लिए एडाप्टिव स्टेरिंग एक्टिवेट करना इससे एक्सीडेंट्स को कम करने में और गाड़ी के ऑक्युपेंट की सेफ्टी में मदद मिलती है|
तो यह थी कुछ इनफॉरमेशन एडवांस ड्राइवर असिस्टेंट सिस्टम यानी ADAS के बारे में और आपकी हिसाब से कौन सा फीचर सबसे अच्छा है| अगर आपको नहीं पता तो मैं आपको बताना चाहूंगा हर को डिजाइन करने वाली डिजाइनर है| जिनका नाम है जिन्होंने महिंद्रा बोलोरो को भी डिजाइन किया|
FAQ
1.ADAS क्या है?
एडवांस्ड ड्राइवर असिस्टेंस सिस्टम (ADAS) वाहन के परिवेश की निगरानी करने और संभावित खतरनाक स्थितियों का पता लगाने के लिए इमेज प्रोसेसिंग कैमरे, रडार, लाइट डिटेक्शन और रेंजिंग और अन्य सेंसर का उपयोग करता है। उद्देश्य: उन्नत स्थितिजन्य जागरूकता के माध्यम से सुरक्षा बढ़ाना और टकराव की संभावनाओं को कम करना।
एडीएएस में उपयोग किए जाने वाले सेंसर में कैमरे, रडार, लेजर और अल्ट्रासाउंड शामिल हैं। वे वाहन की स्थिति की निगरानी के लिए उपयोग किए जाने वाले प्रकाश, गर्मी, दबाव और अन्य चर का पता लगा सकते हैं। आमतौर पर वे आगे और पीछे के बंपर, साइड मिरर, वाहन कैब और विंड शील्ड ग्लास में स्थित होते हैं।
2. ADAS के Applications क्या हैं?
एडीएएस में आमतौर पर ट्रैफिक मैसेज चैनल (टीएमसी), इंटेलिजेंट स्पीड एडाप्टेशन (आईएसए), वाहन संचार सिस्टम और अन्य ड्राइवर सहायक सिस्टम शामिल होते हैं। विशिष्ट प्रणालियाँ इस प्रकार हैं:
Vehicle cam:
1) लेन प्रस्थान चेतावनी प्रणाली
2) लेन कीपिंग सहायता
3) यातायात चिह्न/सिग्नल पहचान
4) रात्रि दृष्टि प्रणाली
5) ड्राइवर स्टेटस मॉनिटर
6) इलेक्ट्रिक वाहन चेतावनी
7) हिल डिसेंट कंट्रोल
Front Camera :
1) पार्किंग सहायता
2) अनुकूली फ्रंट/लाइटिंग सिस्टम
3) अनुकूली क्रूज नियंत्रण
4) पैदल यात्री का पता लगाना
5) आपातकालीन ब्रेक
Back Camera :
1) उलटी छवि
2) पार्किंग सहायता
3) पीछे की ओर टक्कर की चेतावनी
ओर:
1) चारों ओर का दृश्य
2) ब्लाइंड स्पॉट डिटेक्शन
3.ADAS का उपयोग कब करें?
सामान्य परिस्थितियों में, किसी दुर्घटना में मरम्मत के बाद, संबंधित सहायक प्रणालियों का अंशांकन करने की आवश्यकता होती है। जब कैमरे, रडार और सेंसर जैसे निगरानी घटकों को अलग करना या पुनः स्थापित करना, वाहन ईसीयू को बदलना, या वाहन की ऊंचाई बदल दी गई हो, तो सहायक और अन्य प्रणालियों को कैलिब्रेट करने की आवश्यकता होती है।
उदाहरण के लिए: निम्नलिखित मामलों में एसीसी अंशांकन करने की आवश्यकता है।
1. एडेप्टिव क्रूज़ कंट्रोल (एसीसी) रडार सेंसर कंट्रोल यूनिट की मरम्मत करें या बदलें
2. एसीसी रडार सेंसर विचलन कोण सामान्य सीमा से बाहर
3. वाहन बॉडी पर एसीसी रडार सेंसर की स्थिति समायोजित करें
4. बम्पर या रेडिएटर ग्रिल की मरम्मत करें या बदलें
5. चेसिस समायोजित करें
4. Maxi System ADAS का उपयोग कैसे करें?
कैलिब्रेशन टूलसेट सेट करने से पहले निम्नलिखित चरण निष्पादित करें।
① वाहन को समतल और समतल सतह पर पार्क करें, जिसके अगले पहिए सीधे हों और सुनिश्चित करें कि कोई वस्तु न हो वाहन के सामने.
② वाहन का कूलेंट और इंजन ऑयल अनुशंसित स्तर पर होना चाहिए और गैस टैंक भरा होना चाहिए। वाहन चाहिए कोई भी भार (यात्री या माल) नहीं ले जाना चाहिए।
③ वीसीआई को वाहन से जोड़ें और डायग्नोस्टिक टूल को वाहन से कनेक्ट करें (यदि केबल के माध्यम से कनेक्ट किया गया है|
④ वाहन के दरवाजे बंद कर दें।
⑤ टायर के दबाव को अनुशंसित मूल्य पर समायोजित करें।
⑥ तैयारी के उपाय वाहन और सिस्टम के अनुसार अलग-अलग होते हैं। कृपया MaxiSys ADAS पर दिए गए निर्देशों का पालन करें |
5. ADAS 360° कैमरा क्या है?
360° या सराउंड व्यू कैमरा सिस्टम वाहन के चारों ओर एक 360° ऊपर से नीचे (पक्षी की आंख) दृश्य बनाने के लिए कई कैमरा दृश्यों का उपयोग करता है। इस प्रणाली का उपयोग निष्क्रिय (प्रदर्शित निर्देश) और सक्रिय (स्वायत्त) वाहन पार्किंग सहायता प्रणालियों दोनों में किया जाता है।
6. ADAS के प्रौद्योगिकी उपकरण क्या हैं और वे मेरे वाहन में कहां हैं?
कैमरे, सेंसर, अल्ट्रासाउंड, रडार और एलआईडीएआर कुछ ऐसी प्रणालियाँ हैं | जिनका उपयोग ड्राइविंग वातावरण डेटा को कैप्चर करने के लिए किया जाता है, जिसमें यात्रा या स्थिर वाहनों की स्थिति, पैदल यात्री स्थान, सड़क संकेत, ड्राइविंग लेन और चौराहे का पता लगाना, सड़क (वक्र) और ड्राइविंग की स्थिति (खराब) शामिल हैं।
दृश्यता या शाम की ड्राइविंग), उस जानकारी का उपयोग वाहन को उसकी पूर्व निर्धारित कार्रवाई करने का निर्देश देने के लिए करें। कैमरे, सेंसर और सेंसिंग सिस्टम आमतौर पर सामने और पीछे के बंपर, विंडशील्ड, फ्रंट ग्रिल और साइड और रियर व्यू मिरर में स्थित होते हैं।
Drawbacks of ADAS :-
तकनीकी चुनौतियाँ :-
एक और विचार यह है कि एडीएएस हमेशा उतना अच्छा काम नहीं करता जितना उसे करना चाहिए। फैंटम ब्रेकिंग के कुछ मामले सामने आए हैं और ऐसी चुनौतियाँ भी सामने आई हैं जहाँ सड़क निर्माण निर्देश देता है कि आप अस्थायी लेन गाइड का पालन करें।
ईटीएससी के ऑस्ट्रियाई और स्विस सदस्यों केएफवी और बीएफयू द्वारा यात्री कारों पर स्वचालित आपातकालीन ब्रेकिंग सिस्टम (एईबीएस) के एक अध्ययन से यह भी पता चलता है कि बारिश, कोहरे और खराब रोशनी की स्थिति में प्रदर्शन में महत्वपूर्ण सुधार करने की आवश्यकता है।
यह भी तथ्य है कि सभी शब्दावली में पूर्ण मानकीकरण की कमी से ड्राइवरों को ADAS की क्षमताओं को समझने में कठिनाई हो सकती है, जो मानते होंगे कि कार दूसरी कार की तरह व्यवहार करेगी, लेकिन बाद में उन्हें पता चलता है कि ऐसा नहीं है।
मानवीय तत्व :-
दुर्भाग्य से, कई नवाचारों की तरह, पूर्ण लाभों का उपयोग करने के लिए मनुष्यों को उचित रूप से संलग्न होने की आवश्यकता होती है, अन्यथा ADAS के लाभों की कुछ हद तक भरपाई हो सकती है। उदाहरण के लिए, एरी इंश्योरेंस के 2020 के एक सर्वेक्षण में पाया गया कि जिन ड्राइवरों के वाहनों में ये विशेषताएं हैं, उनमें से 11% आगे की टक्कर की चेतावनी को बंद कर देते हैं और 17% स्वचालित आपातकालीन ब्रेकिंग को बंद कर देते हैं।
एरी वीपी जॉन ब्लूम ने बताया, “ड्राइवरों ने कहा कि सुविधाओं को बंद करने या अक्षम करने का उनका सबसे आम कारण यह है कि वे उन्हें कष्टप्रद या ध्यान भटकाने वाला पाते हैं।”
ड्राइवरों के सबसे बड़े प्रतिशत (30%) ने कहा कि उन्होंने अनुकूली क्रूज़ नियंत्रण का उपयोग नहीं किया है। सबसे उद्धृत कारण यह था कि “मैं वाहन को नियंत्रित करना चाहता हूं, न कि वाहन को स्वयं नियंत्रित करना चाहता हूं।”
दूसरी सबसे अक्षम सुविधा लेन-कीपिंग सहायता थी। लगभग एक चौथाई ड्राइवरों (23%) ने कहा कि उन्होंने इसे बंद कर दिया है, ज्यादातर इसलिए क्योंकि उन्हें यह सुविधा ‘कष्टप्रद’ लगी।
Conclusion :-
ADAS प्रणालियाँ दुनिया भर में सड़क सुरक्षा में सुधार करने की क्षमता रखती हैं। आज, ADAS लगभग पारंपरिक है। हाई-एंड मॉडल से लेकर कॉम्पैक्ट इकोनॉमी कारों तक, वे ड्राइवर सुरक्षा पर ध्यान केंद्रित करते हुए सुविधाओं की एक विस्तृत श्रृंखला प्रदान करते हैं।